फिल्म ‘Khudgarz’ (1987) हिंदी सिनेमा की एक प्रसिद्ध फिल्म है, जिसने उस दौर में दर्शकों का खूब दिल जीता था। इस फिल्म में शत्रुघ्न सिन्हा (Shatrughan Sinha) ने एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। आइए जानते हैं कि कैसे शत्रुघ्न सिन्हा को इस फिल्म में रोल मिला और इसके पीछे कुछ दिलचस्प किस्से क्या हैं।
शत्रुघ्न सिन्हा का फिल्मी सफर और ‘खुदगर्ज’ का मौका
शत्रुघ्न सिन्हा हिंदी सिनेमा के जाने-माने अभिनेता और राजनीति में भी सक्रिय रहे हैं। 1980 और 90 के दशक में उन्होंने कई सफल फिल्मों में काम किया। ‘खुदगर्ज’ उस दौर की एक बड़ी हिट फिल्म थी, जिसमें उन्होंने विलेन का रोल निभाया। यह फिल्म राजेश खन्ना और मिज़ान मुराद की मुख्य भूमिका वाली एक ड्रामा फिल्म थी।
रोल के लिए शत्रुघ्न सिन्हा को चुना गया कैसे?
शत्रुघ्न सिन्हा को ‘खुदगर्ज’ में रोल मिलने की कहानी में एक दिलचस्प मोड़ था। दरअसल, इस फिल्म के निर्माता और निर्देशक अपनी कहानी के लिए एक मजबूत और दमदार विलेन की तलाश में थे। वे चाहते थे कि ऐसा किरदार हो जो दर्शकों पर गहरा प्रभाव छोड़े।
उस वक्त शत्रुघ्न सिन्हा की छवि विलेन के रूप में अच्छी बन चुकी थी और उनकी एक्टिंग की काबिलियत भी सभी जानते थे। निर्माता और निर्देशक ने उनके काम को ध्यान से देखा और उन्हें फिल्म में विलेन का रोल ऑफर किया। शत्रुघ्न सिन्हा ने इस रोल को तुरंत स्वीकार कर लिया क्योंकि यह उनके अभिनय के लिए एक नया और चुनौतीपूर्ण अवसर था।
शूटिंग के दौरान रोचक किस्से
शत्रुघ्न सिन्हा की ‘खुदगर्ज’ की शूटिंग के दौरान कई मजेदार और यादगार पल भी हुए। बताया जाता है कि फिल्म के सेट पर उनका व्यवहार बहुत ही प्रोफेशनल था, लेकिन कभी-कभी वे अपने हास्यप्रद स्वभाव से सेट पर माहौल खुशनुमा बना देते थे। एक बार शूटिंग के दौरान वे इतनी गहराई से अपने किरदार में डूब गए थे कि बाकी कलाकार भी प्रभावित हो गए थे।
फिल्म की एक खास बात यह थी कि शत्रुघ्न ने अपने रोल के लिए कई बार स्टंट खुद किए, जो उस समय के लिए काफी रिस्की था। उनका यह समर्पण और मेहनत ही इस फिल्म को खास बनाती है।
फिल्म की सफलता और शत्रुघ्न सिन्हा की प्रशंसा
‘खुदगर्ज’ बॉक्स ऑफिस पर सफल रही और शत्रुघ्न सिन्हा के अभिनय की खूब तारीफ हुई। दर्शकों ने उनके नेगेटिव रोल को भी उतनी ही पसंद किया जितना कि हीरो के रोल को। इस फिल्म ने उनकी एक्टिंग की versatility को साबित किया।

